भविष्य अधर में- अनियमित कर्मचारियों को “अनियमित सत्याग्रह” की नहीं मिली अनुमति

अनियमित कर्मचारी संघ के प्रांतीय संयोजक गोपाल प्रसाद साहू ने बताया कि मांगों को लेकर 2 अक्टूबर सोमवार को तूता (निमोरा) रायपुर में सत्याग्रह व सीएम हाउस मार्च रखा गया था।

भविष्य अधर में- अनियमित कर्मचारियों को “अनियमित सत्याग्रह” की नहीं मिली अनुमति
फाइल फोटो।

रायपुर, जनजागरुकता। अनेक विभागों में कार्यरत अनियमित कर्मचारियों का भविष्य अधर में लटका दिया गया है। राज्य शासन की वादा खिलाफी से सालों से काम कर रहे अनियमित कर्मचारी इसके विरोध में महीनों से धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं। पिछले चुनाव से पहले घोषणा पत्र में शामिल करने के बाद स्वार्थ पूरा होते ही कांग्रेस वादे से मुकर गई।

अनियमित कर्मचारी संघ के प्रांतीय संयोजक गोपाल प्रसाद साहू ने बताया कि कांग्रेस सरकार ने अपने "जन-घोषणा-पत्र" के बिंदु क्रमांक 11 एवं 30 में अनियमित, संविदा एवं दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों को नियमित करने, छटनी न करने तथा आउट सोर्सिंग बंद करने के वादे को पूरा ना कर प्रदेश के अनियमित कर्मचारियों को धोखा दिया है। 

इस क्रम में अपनी 4 सूत्रीय मांग यथा नियमितीकरण, पृथक कर्मचारियों की बहाली, अंशकालीन कर्मचारियों को पूर्ण कालीन करने, आउट सोर्सिंग/ठेका/सेवाप्रदाता सिस्टम बंद करने एवं कांग्रेस सरकार के वादाखिलाफी के विरुद्ध प्रदर्शन था। प्रांतीय संयोजक गोपाल प्रसाद साहू ने बताया इसके लिए 2 अक्टूबर सोमवार को तूता (निमोरा) रायपुर में “अनियमित सत्याग्रह एवं सीएम हाउस मार्च” रखा गया था। साहू ने बताया कि पुलिस प्रशासन ने कानून व्यवस्था के बिगड़ने का हवाला देकर प्रदर्शन व सीएम हाउस घेराव की अनुमति नहीं दी।

सत्ता पाते ही 10 दिनों में पूरा करने का वादा था

अनियमित कर्मचारी संघ के प्रांतीय संयोजक गोपाल प्रसाद साहू ने बताया कि कांग्रेस के सत्ता में आने के पूर्व प्रदेश के अनियमित कर्मचारियों को प्राथमिकता के आधार पर 10 दिनों के अंदर नियमित करने का वादा किया गया था। परन्तु नियमितीकरण तो दूर 10 हजार से अधिक अनियमित कर्मचारियों की छटनी कर दी गई। 2500 से अधिक शिक्षा दूत, स्थानीय अतिथि शिक्षक, ट्यूटर शिक्षकों पर उन्हें निकाले जाने की तलवार लटक रही है| इसी तरह 3000 से अधिक 102 एवं 108 के कर्मचारियों को निकाल दिया गया है।

किसी को 1 तो किसी को 4 साल से मानदेय नहीं

साहू के अनुसार अनेक विभागों में कार्यरत कर्मचारियों यथा मदरसा अतिथि शिक्षक, किसान मित्र, सखी को विगत 6 माह, 1 वर्ष, 2 वर्ष तो किसी को 4 वर्ष से वेतन ही नहीं दिया गया है। साहू ने कहा संविदा, मानदेय पर कार्यरत कर्मचारियों का मानदेय बढ़ाया गया है, वह भी सभी वर्ग को नहीं मिल पा रहा है। न्यूनतम वेतन में विगत 6 वर्षों से वृद्धि न कर श्रम सम्मान राशि देने की घोषणा की गई है जो अद्यतन किसी को मिला नहीं है।

ये कर्मचारी व्यथित एवं आक्रोशित

रोजगार सहायकों को 9540 देने की घोषणा के बाद भी नहीं दिया जा रहा है, जिससे प्रदेश में कार्यरत लाखों अनियमित कर्मचारियों (दैनिक वेतन भोगी/कलेक्टर दर/श्रमायुक्त दर के श्रमिक, प्लेसमेंट, सेवा प्रदाता, मानदेय, जॉबदर, अंशकालीन, ठेका, संविदा, पृथक अनियमित कर्मचारी) काफी व्यथित एवं आक्रोशित हैं। 

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