डैम में मोबाइल.. पानी बहाने वाले फूड इंस्पेक्टर को अब 53 हजार का नोटिस
सस्पेंशन आर्डर के बाद अब कलेक्टर की तरफ से इरीगेशन विभाग ने 53 हजार रुपए जमा करने का नोटिस जारी किया है।
रायपुर, जनजागरुकता। लाखों लीटर पानी बहाकर अफसरशाही का उदाहरण पेश करने वाले फूड इंस्पेक्टर की किरकिरी हो रही है। मोबाइल के लिए जलाशय खाली कर नौकरी से हाथ धोने वाले खाद्य अधिकारी की परेशानियां बढ़ती जा रही है। सस्पेंशन आर्डर के बाद अब कलेक्टर की तरफ से इरीगेशन विभाग ने 53 हजार रुपए जमा करने का नोटिस जारी किया है।
मामला 21 मई को पिकनिक मनाने परलकोट डैम गए खाद्य निरीक्षक राजेश विश्वास का मोबाइल डेम में गिरने के बाद लाखों लीटर पानी यूं ही बहा देने का है। मोबाइल के लिए राजेश विश्वास ने जल संसाधन विभाग के एसडीओ आरसी धीवर के कहने पर डैम का पूरा पानी बहवा दिया।
जानकारी के मुताबिक कुल 4104 क्यूबिक मीटर पानी को बहा दिया गया। अब जल संसाधान विभाग ने इसे गैर कानूनी मानते हुए सिंचाई अधिनियम के तहत 53 हजार का जुर्माना ठोंका है। राजेश विश्वास को 10 दिन के भीतर पैसा जमा कराने को कहा गया है।
एसडीओ पर भी कार्रवाई होगी
बता दें कि कांकेर के परलकोट जलाशय में खाद्य निरीक्षक राजेश विश्वास का मोबाइल गिर जाने की बाद 21 मई 2023 से 4 दिनों तक लगातार मोटर पंप लगाकर 4104 क्यूबिक मीटर पानी को डैम से बहा दिया गया था। इस मामले में जब मीडिया में खबरें प्रकाशित हुई, तो कांकेर कलेक्टर प्रियंका शुक्ला ने कड़ा एक्शन लिया। खाद्य निरीक्षक राजेश विश्वास को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया। वहीं एसडीओ आरएल धीवर को शो-कॉज नोटिस जारी कर 24 घंटे के भीतर जवाब मांगा था।
इसलिए दोषी हैं एसडीओ आरएल धीवर
आरएल धीवर पर आरोप था कि उन्होंने ही खाद्य निरीक्षक राजेश विश्वास को डैम खाली कराने की मौखिक अनुमति दी थी, जिसके बाद 21 मई से 25 मई तक पंप चलाकर डैम से लाखों लीटर पानी बहा दिया गया। मीडिया में राजेश विश्वास के उसी बयान के आधार पर एसडीओ आरएल धीवर को 26 मई 2023 को कारण बताओ नोटिस जारी कर 24 घंटे के भीतर जवाब मांगा गया था, जिसका 27 मई को एसडीओ ने जवाब भेजा।
एसडीओ ने पल्ला झाड़ लिया
नोटिस पर शनिवार को जल संसाधन विभाग के एसडीओ आरएल धीवर ने अपना जो जवाब कलेक्टर को भेजा, तो उन्होंने पूरे मामले से ही पल्ला झाड़ लिया। आरएल धीवर, अनुविभागीय अधिकारी जल संसाधन, पखांजूर ने कारण बताओ नोटिस के जवाब में कहा है कि उनके द्वारा घटना की कोई जानकारी नहीं थी। जलाशय से पानी निकालने के लिए अनुमति उन्होंने नहीं दिया है। जवाब में उन्होंने बताया है कि जलाशय से पानी खाली किए जाने की सूचना प्राप्त होने पर तत्काल कार्यवाही करते हुए डीजल पंप को बंद कराया गया तथा उक्त स्थान से डीजल पंप को हटवाया गया।