चार दशक बाद पहली बार भारत के पीएम मोदी पहुंचे ग्रीस
पीएम मोदी को देखने के लिए होटल के बाहर बड़ी भीड़ लगी हुई है। शासन-प्रशासन में गर्व सा महसूस किया जा रहा है।
ग्रीस, जनजागरुकता डेस्क। यह गर्व और सम्मान की बात है कि 40 साल बाद ग्रीस देश के दौरे पर कोई भारतीय प्रधानमंत्री पहुंचा है। उनके दौरे को लेकर ग्रीस में बेहद उत्साह का माहौल है। पीएम मोदी को देखने के लिए होटल के बाहर बड़ी भीड़ लगी हुई है। शासन-प्रशासन में गर्व सा महसूस किया जा रहा है।
ग्रीस की यात्रा करने वाले पहले भारतीय पीएम में नरेंद्र मोदी का नाम शामिल हुआ है। इससे पहले तत्कालीन पीएम रहीं इंदिरा गांधी ने सितंबर 1983 में ग्रीस गई थीं। इस बार पीएम मोदी के लिए भारतीय प्रवासी के सदस्य एथेंस में उस होटल के बाहर एकत्र हैं। यहां पीएम नरेंद्र मोदी अपनी एक दिवसीय आधिकारिक यात्रा के दौरान ठहरेंगे।
प्रवासी भारतीयों से करेंगे मुलाकात
इस दौरान पीएम मोदी अनेक समारोहों में शामिल होंगे। उनके ग्रीस पहुंचने पर औपचारिक स्वागत किया जाएगा। उसके बाद वहां के राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री के साथ बैठकें करेंगे। इसके अलावा दोनों देशों के कारोबारी समुदाय और प्रवासी भारतीयों से भी मुलाकात करेंगे।
दोनों देशों के संबंधों को और गहरा करने की योजना
बता दें कि दक्षिण अफ्रीका के जोहानिसबर्ग में आयोजित 15वें ब्रिक्स शिखर सम्मेलन के समापन के बाद पीएम नरेंद्र मोदी शुक्रवार सुबह ग्रीस के एक दिवसीय दौरे पर पहुंचे हैं। यहां पीएम मोदी अपने समकक्ष किरियाकोस मित्सोताकिस से मुलाकात करेंगे। इस दौरान दोनों देशों के बीच संबंधों को और गहरा करने के तरीकों पर चर्चा करेंगे।
व्यापारिक नेताओं से चर्चा करेंगे
बयान में कहा गया है कि वह दोनों देशों के व्यापारिक नेताओं के साथ भारतीय समुदाय के साथ भी चर्चा करेंगे। ग्रीस के लिए रवाना होने से पहले पीएम मोदी ने जोहानिसबर्ग में होटल के बाहर मौजूद प्रवासी भारतीयों का अभिवादन किया।
पीएम मोदी का गर्मजोशी से हुआ स्वागत
पीएम मोदी के ग्रीस दौरे पर एथेंस में भारतीय समुदाय के सदस्य काफी उत्साह में दिखे। एथेंस में होटल के बाहर एकत्र हुए भारतीय प्रवासियों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया।भीड़ में एक व्यक्ति ने बताया कि यहां पीएम मोदी के स्वागत के लिए भारतीय समुदाय एकत्र हुआ है। व्यापार और प्रवासियों के मुद्दों पर पीएम मोदी और ग्रीस के पीएम के बीच चर्चा से दोनों देशों के बीच संबंधों को और बेहतर बनाने में मदद मिलेगी।