इंडोनेशिया जाएंगे पीएम मोदी, आज रात होंगे रवाना

आसियान-भारत और पूर्वी एशिया समिट में शामिल होंगे।

इंडोनेशिया जाएंगे पीएम मोदी, आज रात होंगे रवाना

नई दिल्ली, जनजागरुकता डेस्क। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 20वें आसियान-भारत शिखर सम्मेलन और 18वें पूर्व एशिया शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए बुधवार रात को जकार्ता (इंडोनेशिया) के लिए रवाना होंगे।

आसियान के सदस्य देशों के राष्ट्राध्यक्षों और सरकार प्रमुखों के साथ आसियान भारत शिखर सम्मेलन में 7 सितंबर को भाग लेंगे। पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन ऑस्ट्रेलिया, चीन, भारत, जापान, कोरिया गणराज्य, न्यूजीलैंड, रूस और संयुक्त राज्य अमेरिका को साथ लाता है। सम्मेलन के बाद 7 सितंबर की शाम को ही पीएम मोदी दिल्ली के लिए रवाना हो जाएंगे।

बुधवार रात को जकार्ता के लिए रवाना होंगे

आसियान सम्मेलन ऐसे समय पर हो रहा है जब दिल्ली में 9 और 10 सितंबर को जी-20 सम्मेलन का आयोजन होने जा रहा है, जिसमें अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, बांग्लादेश, चीन, जापान, कनाडा और ऑस्ट्रेलिया समेत विभिन्न देशों के राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री शामिल होने के लिए भारत आ रहे हैं। भारत जी20 शिखर सम्मेलन की मेजबानी कर रहा है।

आसियान को क्षेत्र में सबसे प्रभावशाली समूहों में से एक

इंडोनेशिया आसियान के वर्तमान अध्यक्ष के रूप में शिखर सम्मेलन की मेजबानी कर रहा है। आसियान को क्षेत्र में सबसे प्रभावशाली समूहों में से एक माना जाता है और भारत, अमेरिका, चीन, जापान और ऑस्ट्रेलिया समेत कई अन्य देश इसके संवाद भागीदार हैं। समूह के नेताओं के साथ पीएम मोदी की बातचीत में आसियान के साथ भारत के व्यापार एवं सुरक्षा संबंधों को मजबूत करने पर मुख्य रूप से ध्यान केंद्रित किए जाने की संभावना है।

पीएम मोदी की इंडोनेशिया यात्रा को भारतीय राजदूत ने महत्वपूर्ण बताया

पीएम मोदी की इंडोनेशिया यात्रा को भारतीय राजदूत ने महत्वपूर्ण बताया है। राजदूत ने कहा कि इस यात्रा से वैश्विक पटल पर संदेश जाएगा कि भारत अपने क्षेत्र और आसियन केंद्रीयता को कितना महत्व देता है।

2014 में पीएम मोदी ने हमें एक्ट ईस्ट नीति दी- खोबरागड़े

भारतीय राजदूत जयंत खोबरागड़े ने मंगलवार को कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी20 शिखर सम्मेलन के बावजूद इंडोनेशिया आ रहे हैं। इससे साबित होता है कि भारत इस क्षेत्र को कितना महत्व देता है। उन्होंने बताया कि 90 के दशक में हमारे पास लुक ईस्ट नीति थी। इसके बाद 2014 में पीएम मोदी ने हमें एक्ट ईस्ट नीति दी, जो हिंद-प्रशांत महासागर पहल में विकसित हुई।

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