भ्रष्टाचार के खिलाफ पायलट करेंगे अनशन
सीएम अशोक गहलोत की घेराबंदी शुरु कर दी गई है। पायलट की भ्रष्टाचार के खिलाफ अनशन की घोषणा ये संकेत दिए हैं।
जयपुर, जनजागरुकता डेस्क। राजस्थान कांग्रेस के धाकड़ युवा नेता सचिन पायलट ने सीएम अशोक गहलोत की घेराबंदी शुरु कर दी है। पायलट की भ्रष्टाचार के खिलाफ अनशन की घोषणा ऐसे समय में हुई है जब कांग्रेस राजस्थान में आगामी स्थानीय निकाय चुनावों और विधानसभा उपचुनावों के लिए कमर कस रही है।
पायलट के कदम को गहलोत पर दबाव बनाने और राज्य की राजनीति में अपना प्रभाव बढ़ाने के रूप में देखा जा रहा है। उन्होंने गहलोत सरकार से वसुंधरा राजे के नेतृत्व वाली पिछली भाजपा सरकार के कथित भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है।
पायलट के निशाने पर गहलोत
राजस्थान में कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने एक बार फिर से अशोक गहलोत पर निशाना साधा है। उन्होंने भ्रष्टाचार के खिलाफ एक दिन के अनशन पर बैठने का ऐलान किया है। सचिन पायलट के 'लोकतंत्र बचाओ मार्च' में जिस तरह से भीड़ उमड़ रही है उससे गहलोत सरकार असमंजस की स्थिति में है। इस मार्च में पायलट गहलोत सरकार को घेर रही है।
माफियाओं के खिलाफ कार्रवाई करने में विफल
सचिन पायलट ने कहा कि लोगों को आश्वस्त करना आवश्यक था कि कांग्रेस सरकार 2018 के विधानसभा चुनाव से पहले किए गए अपने बयानों और वादों पर काम कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार आबकारी माफिया, अवैध खनन, जमीन पर कब्जा और ललित मोदी शपथ पत्र मामले में कार्रवाई करने में विफल रही है।
बीजेपी सरकार के खिलाफ सबूत थे, फिर भी नहीं की कार्रवाई
सचिन पायलट ने कहा, "हम इन वादों को पूरा किए बिना चुनाव में नहीं जा सकते, हमारे पास सबूत हैं। हमें कार्रवाई करनी चाहिए थी, हमें जांच करनी चाहिए। अब हम चुनाव में जा रहे हैं। जल्द ही आदर्श आचार संहिता लागू होगी। हम लोगों के प्रति जवाबदेह हैं।" सचिन पायलट ने यह भी कहा कि उन्होंने पार्टी नेतृत्व को कई सुझाव दिए थे और उनमें से एक इन मुद्दों पर कार्रवाई करना था।